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अमेरिका: आत्मसमर्पण करने में नाकाम रहा भारतीय मूल का व्यक्ति, फिर कोर्ट ने सुनाई ऐसी सजा

न्यूयॉर्क । अमेरिका में एक भारतीय मूल के व्यक्ति को जेल की सजा काटने के लिए आत्म समर्पण करने में विफल होने के बाद नौ महीने की जेल की सजा सुनाई गई है। यूएस अटॉर्नी मैकग्रेगर स्कॉट ने कहा कि लॉस एंजिल्स में रहने वाले 34 वर्षीय दमनप्रीत सिंह को पिछले हफ्ते अमेरिकी जिला जज गारलैंड बुरेल द्वारा सजा सुनाई गई थी। अदालत के दस्तावेजों के अनुसार, पिछले साल सितंबर में, सिंह को अनधिकृत तरीके से कंप्यूटर के जरिए रिश्वत, पहचान धोखाधड़ी और साजिश करने के लिए दो साल की जेल की सजा सुनाई गई थी।

दमनप्रीत सिंह को इस साल जनवरी में जेल की सजा काटने के लिए आत्म-समर्पण करने का आदेश दिया गया था। हालांकि, आत्मसमर्पण कर जेल की सजा काटने के बजाय सिंह ने जानबूझकर हिरासत से बाहर रहने के लिए कई कदम उठाए। इसके बाद जब उससे संपर्क करने की कोशिश की गई तो उसने फोन का जवाब देना बंद कर दिया और पता लगाने से बचने के लिए किराये की कार ले ली। इसके बाद इस साल मार्च में एक स्थानीय हवाई अड्डे से उसे गिरफ्तार कर लिया गया। इसके बाद उसने अधिकारियों ने झूठ बोला और अपने हिरासत के बारे में कोई जनकारी नहीं दी।

भारतीय मूल के नागरिक ने रिश्तेदारों को उतारा मौत के घाट

वहीं, दूसरी और अमेरिका में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। यहां भारतीय मूल के एक अमेरिकी नागरिक ने अपने चार रिश्तंदारों को बुरी तरह से मौत के घाट उतार दिया। मामले में जब कार्ट में दस्तावेज रखें गए तो पता चला कि इस अमेरिकी भारतीय नागरिक ने चार सप्ताह के अंदर अपने चार रिश्तेदारों को मौत के घाट उतारा था। आरोपी की उम्र 53 साल है और उसका नाम शंकर हैंगुड है। पुलिस ने जांच में बताया कि ये सभी हत्याएं उसने अपने रोजविले अपार्टमेंट में की है।

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