मोहन यादव कैबिनेट ने आज मुख्यमंत्री सुगम बस परिवहन सेवा को मंजूरी दे दी, यात्री बसों की संख्या के लिए हो रहा सर्वे

भोपाल

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में मंगलवार (1 अप्रैल) को राजधानी भोपाल स्थित मंत्रालय में कैबिनेट की अहम बैठक आयोजित की गई। कैबिनेट में कई फैसलों पर मुहर लगी। इस संबंध में कैबिनेट मंत्री कैलाश कैलाश विजयवर्गीय ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर सरकार द्वारा लिए गए फैसलों के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि, कैबिनेट में सीएम राइज स्कूल के नाम बदलने के प्रस्ताव पर मुहर लगी है। अब ‘सांदीपनि स्कूल’ नाम से इसे जाना जाएगा।

एक होल्डिंग कंपनी बनाई जाएगी, जो पीपी मॉडल पर बसों का संचालन करेगी और उसका नियंत्रण होगा। कंपनी गठन के लिए 101 करोड़ रुपए दिए गए हैं, इसके बाद आगे राशि का इंतजाम किया जाएगा।

कैबिनेट के फैसलों की जानकारी देते हुए नगरीय विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि मुख्यमंत्री सुगम परिवहन सेवा के माध्यम से दूरस्थ इलाकों में आने-जाने की सुविधा मिलेगी। अब टिकट के बिना बस में कोई नहीं बैठेगा। टिकट काटने वाली एजेंसी अलग होगी और यह काम सॉफ्टवेयर के माध्यम से किया जाएगा।

जिले में भी होगी सलाहकार समिति

मंत्री विजयवर्गीय ने बताया कि जिले में भी सलाहकार समिति होगी, जिसमें मंत्री, कलेक्टर और अन्य जनप्रतिनिधि शामिल रहेंगे, जो समय-समय पर होल्डिंग कंपनी को सलाह देंगे। बस संचालकों को नुकसान न हो, इसका भी ध्यान रखा जाएगा। सवारी के साथ बस का उपयोग माल परिवहन के लिए भी कार्गो सिस्टम पर आधारित होगा।

इस पर होगा फोकस

    प्रदेश के सभी आदिवासी इलाकों में सुगम यात्री परिवहन के लिए सरकार हर जरूरी प्रयास करेगी।

    नई परिवहन योजना में प्रदेश में यात्री बसों के संचालन की त्रि-स्तरीय मॉनिटरिंग की जाएगी। इसके लिए प्रदेश मुख्यालय स्तर पर एक राज्यस्तरीय होल्डिंग कंपनी गठित की जाएगी।

    प्रदेश के सात बड़े संभागों (भोपाल, इंदौर, जबलपुर, ग्वालियर, उज्जैन, सागर और रीवा) में 7 क्षेत्रीय सहायक कंपनियां भी गठित की जाएंगी।

    प्रदेश के सभी जिलों में जिला स्तरीय यात्री परिवहन समिति गठित की जाएंगी।

    ये सभी बॉडीज यात्री परिवहन को बेहतर बनाने, यात्री किराया तय करने, रूट चार्ट तैयार करने में समन्वय और यात्रियों को योजना का अधिकतम लाभ दिलाने के लिए मॉनिटरिंग एवं मार्गदर्शन करेंगी।

    सात क्षेत्रीय सहायक कंपनियों की आय अर्जन के स्रोत निर्माण के लिए भी इस योजना में विशेष इंतजाम किए जाएंगे।

    नई योजना में सरकार अनुबंधित बसों को प्राथमिकता से परमिट देगी। बसों पर प्रभावी नियंत्रण सरकार का ही होगा।

    नई योजना में यात्रियों और बस ऑपरेटर्स के लिए ऐप और कंपनी की मॉनिटरिंग के लिए एक डेशबोर्ड भी होगा।

यात्री बसों की संख्या के लिए हो रहा सर्वे

नई परिवहन सेवा के संचालन के लिए प्रदेश के सात बड़े संभागों में यात्री बसों की आवश्यकता और जरूरी संख्या के लिए सर्वे कराए जा रहे हैं। सर्वे के परिणाम जल्द ही प्राप्त हो जाएंगे। सर्वे के फीडबैक के आधार पर सरकार इस योजना के क्रियान्वयन की दिशा में आगे बढ़ेगी। बस ऑपरेटर्स को भी बेहतर माहौल और उन्हें लगातार बिजनेस देने का प्रावधान भी इस नई परिवहन सेवा योजना में किया गया है, जिससे ऑपरेटर्स की बस सेवाएं बाधित न हों और यात्रियों को भी कोई परेशानी न हो।

कैबिनेट में यह फैसले भी हुए

    सीएम राइज स्कूल का नाम ‘सांदीपनि स्कूल’ होगा। इन विद्यालयों में भगवान श्री कृष्ण की छवि दिखाई दे, ऐसा इंतजाम किया जाएगा।

    284 करोड़ रुपए केंद्र सरकार की सहायता से महिलाओं के लिए होस्टल बनाने के लिए मिले हैं। औद्योगिक क्षेत्र में काम करने वाली कामकाजी महिलाओं के लिए यह राशि उपयोग की जाएगी।

    इंदौर में आईटी सेक्टर की कॉन्फ्रेंस 27 अप्रैल को होगी। मुख्यमंत्री ने इसके लिए तैयारियां करने को कहा है और इसके लिए देश की बड़ी आईटी कंपनियों को बुलाने के लिए कहा गया है।

    एमएसएमई की सभी छोटी इंडस्ट्री को सब्सिडी दे दी गई है।

    जल गंगा संवर्धन अभियान के लिए मंत्रियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने प्रभार के जिलों में नगरीय निकायों, पंचायतों में जल संग्रहण के लिए जनभागीदारी से काम कराएंगे।

    गेहूं की खरीदी शुरू हो गई है। इस बार 2600 प्रति क्विंटल गेहूं खरीदा जा रहा है। 14.76 लाख किसानों ने पंजीयन कराया है और आठ लाख मीट्रिक टन गेहूं खरीदी कर ली गई है। मंत्रियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे प्रभार के जिलों में दौरा करें और व्यवस्थाएं देखें।

    स्कूल में प्रवेशोत्सव के लिए भी निर्देश दिए गए हैं। किताबें समय पर बच्चों को मिल जाएं। यह काम अप्रैल माह में ही पूरा किया जाना है। कुल 85 लाख बच्चों को किताबें बांटी जाएंगी।

कामकाजी महिलाओं के लिए हॉस्टल के निर्माण हेतु केंद्र सरकार से 224 करोड़ रुपये की सहायता राशि मिली है। राशि का उपयोग उद्योगिक क्षेत्रों में महिला हॉस्टल बनाने के लिए होगा।

27 अप्रैल को इंदौर में आईटी कॉन्क्लेव आयोजित किया जाएगा, जिसमें तकनीकी और उद्योग विशेषज्ञ शामिल होंगे।
जल गंगा संवर्धन अभियान 30 मार्च से 30 जून तक चलाया जाएगा, जिसमें नदियों और जल स्रोतों के संरक्षण पर ध्यान दिया जाएगा।

गेहूं की खरीदी 2600 रुपये प्रति क्विंटल पर की जाएगी।

14 लाख 76 हजार किसानों ने रजिस्ट्रेशन कराया है और अब तक 8 लाख मैट्रिक टन गेहूं की खरीदी की जा चुकी है।

सरकार अब बस नहीं खरीदेगी। होल्डिंग कंपनी बनाकर पीपीपी (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) मॉडल बसों का संचालन होगा।

आईटी का उपयोग कर बसों का संचालन किया जाएगा, जिससे संचालन में आधुनिक तकनीकी सुविधाओं का लाभ मिलेगा।

बसों के टिकट सॉफ्टवेयर के जरिए जारी किए जाएंगे, जिससे टिकट प्रक्रिया को डिजिटल और पारदर्शी बनाया जाएगा।

मुख्यमंत्री सुगम परिवहन सेवा नाम से यह बसें चलेंगी, जो नागरिकों को बेहतर और सुविधाजनक परिवहन सेवा प्रदान करेंगी।

कर्मचारियों को 7वें वेतनमान के तहत भत्ता दिया जाएगा, जिससे उनकी भत्तों में वृद्धि की जाएगी और कार्य की गुणवत्ता में सुधार होगा।

सीएम राइज स्कूल’ का नाम बदलने के प्रस्ताव पर मुहर लग गई है। अब इन स्कूलों को ‘सांदीपनि स्कूल’ नाम से जाना जाएगा।

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